मुख्य रूप से इन्वेस्टिंग दो तरह का होता हैं। जिससे आपको लंबे समय में जबरदस्त मुनाफा कमाई करके देगा।

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बड़ौदा ई-ट्रेड 3 इन 1 खाता

बैंक ऑफ बड़ौदा के साथ बाधारहित और सुरक्षित ट्रेडिंग अनुभव के लिए सिंक्रोनाइज्ड बैंक, डीमैट एवं ट्रेडिंग खाता खोले. डिजीटल खाता खोलने की प्रक्रिया 100% पेपर रहित. प्रतिस्पर्द्धी ब्रोकरेज दरें, ट्रेडिंग खाते के लिए कोई वार्षिक अनुरक्षण शुल्क (एएमसी) नहीं, पहले वर्ष डीमैट खाते हेतु एएमसी में छूट.
प्रमाणित और अनुभवी रिलेशनशिप मैनेजर विशेष तौर पर आपके लिए बनाई गई विशेषीकृत ट्रेडिंग और निवेश नीति बनाने में सहायता करेंगे.

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बड़ौदा ई-ट्रेड छोटे ट्रेडिंग खाते के क्या हैं? 3 इन 1 खाता : डिस्क्लेमर

प्रतिभूति बाजार में निवेश बाजार जोखिमों के अधीन है, निवेश से पहले सभी संबंधित दस्तावेजों को ध्यानपूर्वक पढ़ें.

बॉब कैपिटल मार्केट्स लिमिटेड, बैंक ऑफ़ बड़ौदा की पूर्ण स्वामित्त्व वाली अनुषंगी

सदस्य: नेशनल स्टॉक एक्सचेंज ऑफ़ इंडिया एवं बीएसई लिमिटेड.

एनएसई सदस्य कोड:13045 / बीएसई क्लीयरिंग संख्या : 3258

पंजीकृत कार्यालय:

बॉब कैपिटल मार्केट्स लिमिटेड,
1704, बी विंग, 17 वां तल, पारिनी क्रीसेंजो,
जी ब्लॉक, बांद्रा कुर्ला कॉम्प्लेक्स, बांद्रा (पूर्व),
मुंबई – 400051. टेली: 022-6138 9300
Tel: 022-6138 9300

सेबी सिंगल रजिस्ट्रेशन प्रमाणपत्र - INZ000159332 दिनांक 20 नवंबर 2017.

सेबी (रिसर्च एनालिस्ट्स) विनियमन, 2014, पंजीकरण सं.: INH000000040 03 फरवरी 2020 तक वैध

भौतिक छोटे ट्रेडिंग खाते के क्या हैं? पावर ऑफ़ अटर्नी के प्रस्तुतीकरण पर खाता खोलने की प्रक्रिया पूरी होगी. प्रमाणीकरण के लिए ओटीपी आधारित आधार ई-साइन के उपयोग पर प्रतिबंध होने के कारण, ऑनलाइन आवेदन पत्र के सभी पृष्ठों को मुद्रित कराना होगा और ग्राहक को इस पर भौतिक रूप से हस्ताक्षर करके बॉब कैप्स में जमा करना होगा. बैंक ऑफ़ बड़ौदा डीमैट खाते हेतु प्रत्यक्ष सत्यापन (आईपीवी) ट्रेडिंग खाते के लिए भी मान्य होगा. प्रथम वर्ष डीमैट खाते पर कोई वार्षिक रखरखाव प्रभार नहीं लिए जाएंगे.

Margin Trading- मार्जिन ट्रेडिंग

मार्जिन ट्रेडिंग
What is Margin Trading: शेयर बाजार में मार्जिन ट्रेडिंग से अर्थ उस प्रक्रिया से है, जहां व्यक्तिगत निवेशक शेयर खरीद की अपनी क्षमता से ज्यादा स्टॉक्स खरीदते हैं। मार्जिन ट्रेडिंग भारत में इंट्रा डे ट्रेडिंग को भी परिभाषित करती है। मार्जिन ट्रेडिंग की सुविधा विभिन्न स्टॉक ब्रोकर्स देते हैं। मार्जिन ट्रेडिंग में एक सिंगल सेशन में सिक्योरिटीज की खरीद और बिक्री शामिल रहती है। समय के साथ विभिन्न ब्रोकरेजेस ने टाइम ड्यूरेशन के मामले में कुछ ढील दी है। मार्जिन ट्रेडिंग में निवेशक एक विशेष सत्र में शेयर की चाल का अनुमान लगाते हैं। इलेक्ट्रॉनिक स्टॉक एक्सचेंजेस की बदौलत, मार्जिन ट्रेडिंग अब छोटे ट्रेडर्स के लिए भी एक्सेसिबल है। मार्जिन ट्रेडिंग की प्रक्रिया काफी सरल है।

मार्जिन अकाउंट, निवेशकों को अपनी शेयर खरीद क्षमता से ज्यादा शेयर खरीदने के संसाधन उपलब्ध कराता है। इस उद्देश्य के लिए ब्रोकर शेयर खरीदने के लिए पैसे उधार देता है और शेयरों को अपने पास गिरवीं रख लेता है। मार्जिन अकाउंट के साथ ट्रेड करने के लिए निवेशक को सबसे पहले मार्जिन अकाउंट खुलवाने के लिए अपने ब्रोकस को रिक्वेस्ट करनी होती है। इसके लिए ब्रोकर को कैश में पैसे देने होते हैं, जिसे मिनिमम मार्जिन कहते हैं।

Trading और Investment क्या हैं, दोनों में क्या अंतर है

जब भी नए लोग शेयर मार्केट में आते है। उसके मन में ये सवाल जरूर आता ही हैं। Trading और Investing क्या है इन दोनों में क्या अंतर होते हैं। ये सवाल मन में आना जायज भी हैं। जब तब नए लोगो को ये समझ नहीं आते उसे कैसे पता लगेगा उसका जोखिम क्षमता और लक्ष्य के हिसाब से, Trading और Investing में उसके लिए किया बेहतर होगा। आज हम जानेंगे Trading और Investing होता क्या है, दोनों में क्या अंतर हैं, Trading कितने तरह की होते हैं। साथ ही साथ जानेंगे कि ट्रेडिंग से हर रोज कमाई कर सकते है या नहीं।

Table छोटे ट्रेडिंग खाते के क्या हैं? of Contents

Trading क्या होता है:-

जब भी आप शेयर को खरीदते हो और उस दिन ही बेच देते हो। तब इसे Trading कहते हैं। मतलब आप Stock Trading में ज्यादा समय तक शेयर को अपने पास नहीं रख सकते हो। मान लीजिए आप एक शेयर खरीदा 200 रुपये में प्रॉफिट होने पर आपने उस दिन ही 220 रुपये में बेच दिया। इसी प्रोसेस को कहते है ट्रेडिंग। Trading करते वक्त Trader हमेशा Technical Analysis के साथ चलते हैं। जिससे उस कंपनी के शेयर प्राइस को कुछ समय आगे का शेयर प्राइस अंदाजा हो जाता हैं। इससे कोई फर्क नहीं पड़ता कंपनी क्या काम करती है, भविष्य की योजना क्या हैं। सिर्फ ये देखा जाएगा शेयर प्राइस किस तरफ जा रही है। Trading करते समय न्यूज़ पर ध्यान देना बहुत जरुरी होता हैं. क्युकी कोई अच्छी खबर किसी भी शेयर को ऊपर ले जा सकती हैं। और बुरी खबर एकदम से नीचे भी ला सकती हैं।

Trading के प्रकार (Types of Trading):-

बहुत सारे Types of Trading होते है मुख्य रूप से 5 तरह का होता है। जिससे ट्रेडर ट्रेडिंग करके पैसा कमाई कर सके।

Investing क्या होता है:-

जब कोई शेयर आज खरीद के बहुत साल बाद बेच देते है तब इसे Investing कहते हैं। इन्वेस्टिंग में आप बहुत लंबे समय के शेयर को अपने Demat Account में रखते हो। कंपनी के वित्तीय विवरण, छोटे ट्रेडिंग खाते के क्या हैं? पिछले प्रदर्शन, भविष्य में होने वाले ग्रोथ को देखते हुए ही किसी भी शेयर में इन्वेस्ट करता हैं। Investing में Fundamental Analysis करना बहुत जरुरी हैं। जिससे आपको कंपनी के बारे अच्छी नॉलेज होगा और भविष्य में अच्छा रितर्न कमाके देगा।

Trading और Investment क्या हैं, दोनों में क्या अंतर है

क्या Trading से रोज पैसा कमाई कर सकते है:-

जी बिल्कुल आप ट्रेडिंग से हर रोज पैसा कमाई कर सकते हो। लेकिन जैसा कि हम जानते है Share Market रिस्क भी होता हैं। जिस तरह आप रेगुलर कमाई कर सकते है ठीक उसी तरह नुकसान भी हो सकता हैं। लाभ और नुकसान निर्भर करता है आपके ट्रेडिंग रणनीति के ऊपर। कब आप कौन सा ट्रेड ले रहे हो और आप कितना सही हो। जहा लोग बहुत कम समय में लाखो रूपया कमा लेते है वही कुछ लोग कम समय में लाखों रुपये का नुकसान भी कर लेते हैं।

अगर आप नए निवेशक हो तो आपको सबसे पहले Investing की तरफ जाना चाहिए। क्युकी अच्छा शेयर कम समय में नीचे भी आ सकता हैं। लेकिन लंबे समय में वो शेयर जरूर ऊपर जाएगा ही। आपको एसी शेयर में निवेश करना चाहिए जो शेयर भबिस्य में बढ़ने की पूरी संभावना रहती हैं।

आशा करता हु आपको Trading और Investment क्या हैं, दोनों में क्या अंतर है, कितने Types के होते है आपको अच्छी तरह से समझमे आ गया होगा । इससे जुड़ी कोई सवाल या सुझाब है तो कमेंट में जरुर बताए। शेयर मार्केट के बारे में बिस्तार से जानने के लिए आप हमारे और भी पोस्ट को पढ़ सकते हैं।

शेयर बाजार में निवेश करना चाहते हैं, तो जरूरी है Demat Account होना, जानें कैसे खुलता है, क्या होता है चार्ज

शेयर बाजार में निवेश करना चाहते हैं, तो जरूरी है Demat Account होना, जानें कैसे खुलता है, क्या होता है चार्ज

Demat Account : शेयर बाजार में ट्रेडिंग करने के लिए जरूरी है डीमैट अकाउंट. (प्रतीकात्मक तस्वीर)

शेयर बाजार में ट्रेडिंग (Share Market Trading) कर पैसा बहुत से लोग बनाना चाहते हैं लेकिन शेयर्स खरीदने और बेचने के लिए जिस डीमैट अकाउंट की जरूरत होती है, उसके बारे में कम ही जानकारी होती है. डीमैट अकाउंट कैसे काम करता है, इस खाते को खोलने के लिए जरूरी कागजात कौन से होते हैं और कितनी फीस डीमैट खाते को खोलने के लिए खर्च करनी पड़ती है. ऐसे बहुत सारे सवालों के जवाब हम आपको इस खबर की मदद से दे रहे हैं क्योंकि शेयर ट्रेडिंग के लिए डीमैट अकाउंट होना जरूरी है, इसके बिना ट्रेडिंग नहीं की जा सकती है.

तो आइए जानते हैं डीमैट खाते से जुड़ी हर जरूरी जानकारी.

जिस तरह से बैंक अकाउंट होता है. इसी तरह से डीमैट अकाउंट भी बैंक खाते की तरह काम करता है. शेयर बाजार को रेगुलेट करने वाली संस्था SEBI के साफ निर्देश हैं कि बिना डीमैट खाते के शेयरों को किसी भी अन्य तरीके से खरीदा और बेचा नहीं जा सकता है.

डीमैट खाते की सबसे अच्छी बात होती है ये जीरो अकाउंट बैलेंस के साथ भी खोला जा सकता है. इसमें मिनिमम बैलेंस रखने की जरूरत नहीं होती है. शेयर बाजार में निवेश के लिए निवेशक के पास बैंक अकाउंट, ट्रेडिंग अकाउंट और डीमैट खाता होने चाहिए क्योंकि डीमैट खाते में आप शेयरों को डिजिटल रूप से अपने पास रख सकते है. तो वहीं ट्रेडिंग अकाउंट से मदद से शेयर, म्युचुअल फंड और गोल्ड में निवेश किया जा सकता है.

कैसे खोलें डीमैट खाता

- शेयरों छोटे ट्रेडिंग खाते के क्या हैं? में ऑनलाइन निवेश करने के लिए सबसे ज्यादा जरूरी डीमैट खाता होता है. आप इसे HDFC सिक्योरिटीज, ICICI डायरेक्ट, Axis डायरेक्ट जैसे किसी भी ब्रोकरेज के पास खुलवा सकते हैं.

- ब्रोकरेज फर्म का फैसला लेने के बाद आप उसकी वेबसाइट पर जाकर डीमैट अकाउंट ओपन करने का फॉर्म सावधानी से भरने के बाद उसकी KYC प्रोसेस को पूरा करें.

- KYC के लिए फोटो आईडी प्रूफ, एड्रेस प्रूफ के लिए डॉक्यूमेंट की जरूरत पड़ेगी. जब ये प्रोसेस पूरी हो जाएगा तो उसके बाद इन-पर्सन वेरिफिकेशन होगा. संभव है जिस फर्म से आप डीमैट अकाउंट खुलवा रहे हों, वो अपने सर्विस प्रोवाइडर छोटे ट्रेडिंग खाते के क्या हैं? के दफ्तर आपको बुलवाएं.

- इस प्रोसेस को पूरा होने के बाद आप ब्रोकरेज फर्म के साथ टर्म ऑफ एग्रीमेंट साइन करते है. ऐसा करने के बाद आपका डीमैट अकाउंट खुल जाता है.

- फिर आपको डीमैट नंबर और एक क्लाइंट आईडी दी जाएगी.

कौन खोलेगा डीमैट खाता

इंडिया में डीमैट खाता खोलने का काम दो संस्थाएं करती है. जिसमें पहली है NSDL (National Securities Depository Limited) और दूसरी है CDSL (central securities depository limited). 500 से अधिक एजेंट्स इन depositories के लिए काम करते है, जिनको आम भाषा में डीपी भी कहा जाता है. इनका काम डीमैट अकाउंट खोलना होता है.

डीमैट अकाउंट खोलने के लिए सबसे ज्यादा जरूरी शर्त होती है कि जो व्यक्ति शेयर ट्रेडिंग के लिए डीमैट अकाउंट खुलवा रहा हो उसकी उम्र 18 साल से ज्यादा होनी चाहिए. साथ ही इसके लिए उस व्यक्ति के पास पैन कार्ड, बैंक छोटे ट्रेडिंग खाते के क्या हैं? अकाउंट आइडेंटिटी और एड्रेस प्रूफ होना जरूरी है.

करते हैं लाखों रुपये कमाने का वादा

कम निवेश में यह बाइनरी ट्रेडिंग छोटे ट्रेडिंग खाते के क्या हैं? एप लोगों को ज्यादा पैसा कमाने का वादा करते हैं। इन कंपनियों का कहना होता है कि लोग 10 डॉलर (700 रुपये) के छोटे से निवेश से एक माह बाद 10000 हजार डॉलर (7 लाख रुपये) तक कमा सकते हैं। हालांकि ऐसा हकीकत में कुछ भी नहीं होता है। यह एक तरह का छलावा है, जैसा हाल ही में क्लिक एंड लाइक, बाइक बोट, स्पीक एशिया ने लोगों के साथ किया था और लाखों लोगों के करोड़ों रुपये डूब गए थे।

बाइनरी ट्रेडिंग एप इसलिए भी खतरनाक हैं, क्योंकि इनको भारत में व्यापार करने के लिए किसी भी तरह की मान्यता सेबी, आरबीआई या सरकार से नहीं मिली है। वहीं अगर कोई व्यक्ति थोड़े बहुत पैसे भी इन बाइनरी एप से कमा लेता है, तो वो फेमा कानून के तहत फंस सकता है। दूसरी तरफ इन कंपनियों का रजिस्ट्रेशन टैक्स हैवेन देशों में हैं, जहां से आप किसी तरह की कोई मदद नहीं पा सकते हैं।

ऐसे काम होता है बाइनरी ट्रेडिंग में

बाइनरी ट्रेडिंग में विदेशी मुद्रा, क्रिप्टोकरेंसी और सोने-चांदी जैसी कमोडिटी में ट्रेडिंग करने का ऑप्शन दिया जाता है। यहां पर लोगों को अनुमान लगाना होता है कि फलां कमोडिटी कितना आगे या फिर नीचे जाएगी। मान लीजिए आपने डॉलर पर अनुमान लगाया कि वो अगले एक से पांच मिनट में नीचे जाएगा, और आपने 10 डॉलर के साथ स्ट्राइक लगाई। अब एक मिनट में जो डॉलर नीचे जा रहा था, वो एकदम से ऊपर चला जाएगा। इससे आपके वो 10 डॉलर भी डूब जाएंगे। आप छोटे ट्रेडिंग खाते के क्या हैं? जितना भी पैसा लगाएंगे वो डूबता ही चला जाएगा।

शुरुआत में यह कंपनियां रजिस्ट्रेशन करने के बाद 10 हजार डॉलर का वर्चुअल पैसा डालती हैं, जिससे लोग इसके बारे में पूरी तरह से ज्ञान ले लें। लोग वर्चुअल में जब खेलकर थोड़ा भी ज्ञान ले लेते हैं, तब इसमें पैसा निवेश करते हैं।

कम से कम 3000 डॉलर का निवेश

अगर आपने यहां से थोड़ा सा भी पैसा कमा लिया तो वो आप निकाल नहीं पाएंगे। इन ट्रेडिंग एप पर आपको कम से कम तीन हजार डॉलर (करीब 2,10,000 रुपये) का निवेश करना होगा, तभी वो व्यक्ति इन खातों से जीता हुआ पैसा छोटे ट्रेडिंग खाते के क्या हैं? निकाल सकेगा। अगर उसने इतना पैसा नहीं निवेश किया तो उसको खाते से पैसा निकालने के लिए अनुमति नहीं मिलेगी।

हालांकि लोगों को निवेश करने के लिए अपने डेबिट या फिर क्रेडिट कार्ड (वीजा या मास्टरकार्ड) से पैसा ट्रांसफर कर सकते हैं। एक बार जहां आपने अपने कार्ड की डिटेल्स दे दी, तो समझ लीजिए कि आपका खाता हैक होने में देर नहीं लगेगी।

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