डिगोक्सिन (Digoxin)
दिल की विफलता और आलिंद फैब्रिबिलेशन , जो कि अंग के ऊपरी कक्ष को प्रभावित करने वाले दिल की ताल का एक विकार है, का प्रभावी ढंग से इलाज किया जा सकता है डिगोक्सिन (Digoxin) । दवाओं के पत्तों से दवा निकाली जाती है। डिगोक्सिन (Digoxin) दिल की धड़कन को मजबूत करता है और हृदय की लय को नियंत्रित करने में मदद करता है
वेन्ट्रिकुलर फ़िबिलीशन से पीड़ित रोगियों के लिए यह दवा उपयुक्त नहीं है, जो कि हृदय के ताल के विकार को प्रभावित करती है।
इससे पहले कि इस दवा का एक कोर्स शुरू हो, यह आवश्यक है कि वे अपने स्वास्थ्य देखभाल प्रदाता के साथ अपने चिकित्सा इतिहास पर चर्चा करें। यह सुनिश्चित करने के लिए कि दवा पूरी तरह से खपत के लिए सुरक्षित है, अपने चिकित्सक को किसी भी एलर्जी या वर्तमान स्वास्थ्य समस्याओं के बारे में सूचित करें जिससे आप पीड़ित हैं। यहां स्वास्थ्य स्थितियों की एक सूची दी गई है, जिन्हें आपको अपने डॉक्टर के बारे में सूचित करने से पहले अपने बारे में सूचित करना चाहिए डिगोक्सिन (Digoxin) -
- एबी रुकावट या साइनस सिंड्रोम
- हाल के दिनों में दिल का दौरा
- दिल की धड़कन के साथ समस्याएं
- गुर्दा, थायराइड या यकृत की समस्याएं
- कुपोषण
- इलेक्ट्रोलाइट असंतुलन
अगर आप गर्भवती हैं या स्तनपान कर रहे हैं तो अपने मेडिकल पेशेवर को भी सूचित करें। दवा किसी अजन्मे बच्चे या नवजात शिशु के किसी भी नकारात्मक प्रभाव के लिए नहीं जानी जाती है, लेकिन इस मामले में डॉक्टर से दवा लेने की संभावनाओं पर चर्चा करना सबसे अच्छा है।
कुछ साइड इफेक्ट्स जिन्हें आप लेते समय विकसित कर सकते हैं डिगोक्सिन (Digoxin) चिंता , अवसाद , उल्टी, चकत्ते , दस्त और आंदोलन की भावना है। आप अपने डॉक्टर के साथ अलग-अलग तरीकों से चर्चा कर सकते हैं जिसके द्वारा आप ऐसे लक्षणों की शुरुआत रोक सकते हैं। यदि इन दुष्प्रभावों में से कोई भी लंबे समय तक जारी रहता है या खराब होता है तो यह सबसे अच्छा होता है कि आप जितनी जल्दी हो सके चिकित्सा सहायता लें।
यहां दी गई जानकारी साल्ट (सामग्री) पर आधारित है. इसके उपयोग और साइड इफेक्ट्स एक से दूसरे व्यक्ति पर भिन्न हो सकते है. दवा का इस्तेमाल करने से पहले Cardiologist से परामर्श जरूर लेना चाहिए.
फॉल्ट पैसेज इंडिकेटर (शॉर्ट सर्किट और अर्थ फॉल्ट के लिए संयुक्त) : CSFPI (SC+EFPI)
CSFPI , फॉल्ट पैसेज इंडिकेटर अर्थ, केबल सिस्टम पर होने वाले अर्थ फॉल्ट को ढूंढता है और उसे एक इनपुट/ओपन रिंग व्यवस्था के साथ RMU में दिखाता है। जब सेट ट्रिप करंट सेटिंग पर करंट डिटेक्ट होता है तो यूनिट उसके फॉल्ट कंडिशन को इंडिकेट करता है। फॉल्ट करंट को केबल फ्रेम में लगे हुए सेंसर द्वारा भांप लिय़ा जाता है जो यूनिट को इंडिकेट करने के लिए सिग्नल देता है। जांच वाली केबल पर सेंसर होना ही चाहिए और केबल पर भी रेट्रोफाइड हो सकता है।
प्रोग्राम रिस्पॉंस के लिए प्रोग्राम द्वारा सेट करंट से अगर अर्थ करंट बढ़ता है तो फॉल्ट का पता चलता है, यह संदेश लाल रंग की LED के जलने से संबंधित अधिकारी के पास पहुंच जाता है। इसी के साथ रिले कोंटेक्ट चालू हो जाता है। इसके बाद यह प्रीसेट टाइम पैसेज या एक्सट्रनल पोटेंशियल फ्री इनपुट या 230V AC (इसमें ऑक्स सप्लाई नहीं है) वोल्टेज की रिकवरिंग या पुश बटन द्वारा मेन्युअली रिसेट हो जाता है। इसको 8 सेकंड तक दबा के रखकर इसका फिल्ड पर एक ‘फॉक्शनल टेस्ट” किया जा सकता है और 6 सेकंड के लिए पुश बटन को दबाकर बैटरी टेस्ट किया जा सकता है। अगर नेटवर्क के तीनों फेस फ्रेम के आस पास रहता है तो अर्थ फॉल्ट डिटेक्शन एक तरह का सम्मेशन सेंसर करंट है और इसे कई तरीकों से विस्तारित किया जा सकता है। प्रोग्रामेबल पैरामीटर को DIP स्विच द्वारा सेट किया जा सकता है जिस तक CSFPI इंडिकेशन यूनिट के फ्रंट कवर को खोलकर पहुंचा जा सकता है। फॉल्ट डिटेक्शन के लिए इसमें निकास (Exit) का विकल्प भी मौजूद होता है।
मनरेगा का पैसा चाहिए तो दीजिए पांच सवालों के जवाब- मंत्री गिरिराज सिंह ने राज्यों को दिलाया याद
Rural Development Ministry: पश्चिम बंगाल की मुख्यमंत्री ममता बनर्जी ने जुलाई में केंद्र पर मनरेगा के फंड को रोकने का आरोप लगाया था।
केंद्रीय मंत्री गिरिराज सिंह (image source: twitter/@girirajsinghbjp)
Rural Development Ministry: केंद्र सरकार के ग्रामीण विकास मंत्रालय ने सभी राज्य सरकारों को पत्र लिखकर याद दिलाया है कि उन्हें महात्मा गांधी राष्ट्रीय ग्रामीण रोजगार गारंटी अधिनियम, 2005 (मनरेगा) के तहत धन प्राप्त करने के लिए मंत्रालय द्वारा निर्धारित संकेतकों के अनुपालन को दर्शाने वाली कार्रवाई रिपोर्ट प्रस्तुत करने की आवश्यकता है।
जिन पांच संकेतकों का राज्यों का पालन करने के लिए कहा गया है। उनमें सोशल ऑडिट, लोकपाल, नेशनल मोबाइल मॉनिटरिंग सिस्टम, एरिया ऑफिसर मॉनिटरिंग विजिट ऐप और व्हाट्सएप ग्रुप ऑफ जीपीएस शामिल है।
ग्रामीण विकास मंत्री गिरिराज सिंह ने कहा, ‘मनरेगा फंड के उपयोग में पारदर्शिता और जवाबदेही सुनिश्चित करने के लिए लाए गए संकेतकों के अनुपालन का आकलन अक्टूबर में किया जाएगा।’ वहीं सरकार के इस कदम से केंद्र और राज्यों के बीच तकरार हो सकती है, क्योंकि कई राज्यों ने अभी भी संकेतकों का पालन नहीं किया है।
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पश्चिम बंगाल की मुख्यमंत्री ममता बनर्जी ने जुलाई में केंद्र पर मनरेगा के फंड को रोकने का आरोप लगाया था। केंद्र ने तब कहा था कि राज्यों को फंड जारी करने के लिए मानकों का पालन करने की जरूरत है।
केंद्रीय मंत्री ने कहा कि मैंने राज्यों को लिखा है कि हमारे पास धन की कोई कमी नहीं है, लेकिन उन्हें पारदर्शिता सुनिश्चित करने की आवश्यकता है और कोई वित्तीय अनियमितता नहीं होनी चाहिए। हम अक्टूबर में की गई कार्रवाई की रिपोर्ट देखेंगे और अनुपालन का आकलन करेंगे।
केंद्रीय मंत्री गिरिराज सिंह ने आगे कहा, ‘मैंने राज्यों से मनरेगा में अधिक पारदर्शिता लाने के लिए कहा Indicators के फायदे है और इसके लिए हमें कुछ संकेतकों का पालन करने की आवश्यकता है। जैसे कि आयुक्तों का दौरा, वास्तविक समय उपस्थिति, एक सक्रिय लोकपाल, सामाजिक लेखा परीक्षा, एक राष्ट्रीय मोबाइल निगरानी।
मंत्रालय द्वारा राज्यों और केंद्र शासित प्रदेशों को भेजे गए 5 अगस्त, 2022 के पत्र में Indicators के फायदे धन के उपयोग पर पारदर्शिता और जवाबदेही सुनिश्चित करने के लिए पांच संकेतक सूचीबद्ध हैं। हालांकि, इसके बावजूद कई राज्यों ने निर्देशों का पालन नहीं किया है। ऐसे में मंत्रालय द्वारा गैर-अनुपालन के मामले में धन वापस लेने की संभावना है।
जमीनी स्तर पर किए गए प्रभावी कार्य का आकलन करने वाले पांच संकेतकों में से एक व्हाट्सएप ग्रुप है। यह सांसदों, विधायकों, सरपंच और अन्य जैसे जनप्रतिनिधियों की रीयल-टाइम उपस्थिति साझा करने के लिए है। इससे जनप्रतिनिधियों को गतिविधियों पर नजर रखने में मदद मिल सकती है।
पत्र में कहा गया है, ‘जैसा कि आप जानते हैं कि महात्मा गांधी राष्ट्रीय ग्रामीण रोजगार गारंटी अधिनियम, 2005, अन्य बातों के साथ, ग्राम सभा को ग्राम पंचायत में शुरू की गई सभी परियोजनाओं का सामाजिक लेखा परीक्षा करने के लिए अनिवार्य करता है। प्रत्येक जिले के लिए एक लोकपाल प्राप्त करने के लिए। शिकायतों की जांच करना और जारी दिशा-निर्देशों के अनुसार पुरस्कार पारित करना। जिला कार्यक्रम समन्वयक और जिले में सभी कार्यान्वयन एजेंसियों को योजना को लागू करना। साथ ही धनराशि के उचित उपयोग और प्रबंधन के लिए जिम्मेदार बनाया।
कोलेस्ट्रोल बढ़ने पर शरीर देता है ये 8 संकेत
दोस्तों कोलेस्ट्रोल बढ़ जाने से आप क्या समझते हैं? आमतौर पर लोगों को लगता है कि कोलेस्ट्रोल केवल ह्दय को हानि पहुंचाता है. लेकिन यह सत्य नहीं है. असल में कोलेस्ट्रोल के दो प्रकार होते हैं – एक है एचडीएल यानी हैल्दी कोलेस्ट्रोल और दूसरा है एलडीएल यानी बुरा कोलेस्ट्रोल. अच्छे और बुरे के बीच संतुलन होना बेहद ही आवश्यक होता है. (increased cholesterol 8 indicators)
दरअसल कोलेस्ट्रोल वह फैट है जिसे लीवर बनाता है. यदि निर्माण की मात्रा उसके प्रयोग से अधिक होने लगे तो यह बचा हुआ फैट नसों के भीतर एकाएक जमने लगता है. जिसके फलस्वरुप रक्त नलियां संकरी होने लगती है. असर यह होता है कि, रक्तप्रवाह के लिए ह्रदय को बहुत अधिक मेहनत करनी पड़ती है. यही कारण है कि कोलेस्ट्रोल का सीधा संबंध ह्रदय रोग से जोड़कर देखा जाता है. इसलिए कोलेस्ट्रोल को नियंत्रित करना यानी ह्रदय को स्वस्थ रखना एक समान बात है.
घर के बड़े बुजुर्गों द्वारा अक्सर सुनने में आता है कि, इंसान का शरीर हर स्वास्थ्य समस्या के होने की जानकारी लक्षणों के आधार पर कर दे देता है. लेकिन कोलेस्ट्रोल के साथ ऐसा बिल्कुल नहीं है. इस समस्या के स्पष्ट लक्षण नहीं होते हैं जिस कारण अक्सर इसके बढ़ जाने के बाद ही इसका पता चलता है. इन सभी बातों के बावजूद कुछ ऐसे लक्षण हैं जो आपको इशारा तो देते है। बस आपको इन लक्षणों को समझने की आवश्यकता होती हैं. आइये जानते हैं क्या है वह लक्षण…
संकेत 1: छाती में दर्द
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कई बार छाती में दर्द का होना और सांस का फूलना. क्योंकि कोलेस्ट्रोल नसों में फैट को जमाकर रक्तनलिकाओं को धीमा कर देती है. इन संकरी नसों से रक्त का बहाव करने के लिए ह्रदय को ज्यादा मेहनत करने की आवश्यकता पड़ती है. जिस कारण सीने में तेज दर्द भी होता है और सांसे फूलने लगती है.
संकेत 2: ब्लड प्रैशर
ब्लड प्रैशर का बढ़ना. यदि आपका ब्लड प्रैशर सामान्य रहता है और अचानक से आपको बेचैनी महसूस हो और बीपी बढ़ने लगे तो इस संकेत को गंभीरता से लें, यह एक लक्षण है जो आपके कोलेस्ट्रोल के बढ़ने की ओर इशारा कर रहा है.
संकेत 3: पैरों में सूजन
पैरों में सूजन, पानी का जमाव Indicators के फायदे और दर्द का होना. यदि आपके पैर बिना किसी कारण के सूज रहें है और आपके पैरों में दर्द रहता है तो इसका कारण कोलेस्ट्रोल हो सकता है. कोलेस्ट्रोल और पैरों के दर्द, सूजन व ऐंठन के बीच गहरा संबंध है.
संकेत 4: अचानक वजन बढ़ना
वजन का अचानक से बढ़ना. कई लोगों का वजन एकाएक बढ़ने लगता है. मतलब कि वजन का बढ़ना या शरीर में भारीपन को महसूस करना एक कारण हो सकता है कि आपका कोलेस्ट्रोल का स्तर बढ़ रहा है.
संकेत 5: पसीना
अत्यधिक पसीना आना. यदि आपको पसीना कम आता हो और बिना कारण ही आपको पसीना बहुत अधिक आने लगे तो इसका अर्थ है कि आपके शरीर के भीतर कोई न कोई समस्या पैदा हो रही हैं. इसका कारण बीपी या शुगर का बढ़ना से लेकर कोलेस्ट्रोल बढ़ना भी हो सकता है.
संकेत 6: थकान
थकान महसूस होना. थोड़ा सा काम करने पर थकान का अनुभव करना या फिर हमेशा निराशा के भाव के साथ शरीर में स्फूर्ति न रहना भी इसका कारण हो सकता है.
संकेत 7: पलकों के करीब पीलापन
आंखों की पलकों के पास पीले रंग की गांठें आपके शरीर में कोलेस्ट्रोल के स्तर के बढ़ने को दर्शाता है. यह गांठें वसा (फैट) के होते हैं जो कोलेस्ट्रोल के बढ़ने के कारण बनने लगते हैं.
संकेत 8 :
हाथ-पैरों का सुन्न या एकदम ठंडा पड़ना.इसमें पैर एकदम ठंडे रहने लगते हैं और वे गर्म ही नहीं हो पाते है. इतना ही नहीं हाथ-पैरों का सुन्न पड़ना भी इसी समस्या की तरफ इंगित करता है.
जान लें कि, कोलेस्ट्रोल से बचाव के दो मुख्य तरीके हैं. एक स्वास्थ्यवर्धक आहार व जीवनशैली और दूसरा समय समय पर कोलेस्ट्रोल की जांच कराना. यदि आप हर साल हैल्थ चैकअप पर इनवेस्ट करते हैं तो आप कोलेस्ट्रोल की गंभीर समस्या के होने से पहले ही उसे नियंत्रित करने में सफल हो सकते हैं.
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Adani Power, इंफोसिस, आईसीआईसीआई बैंक समेत इन शेयरों में ख़रीदारी के संकेत, आपको कैसे मिल सकता है फायदा?
Adani Power: आप इन शेयरों में खरीदारी कर अगले कुछ समय में अच्छा मुनाफा कमा सकते हैं. मोमेंटम इंडिकेटर ने तकनीकी चार्ट पर 215 कंपनियों के शेयरों में तेजी आने की उम्मीद जताई है. इसका मतलब यह है कि आप इन 215 शेयरों में निवेश कर अगले कुछ दिनों में अच्छी कमाई कर सकते हैं.
इसका मतलब यह है कि आप इन शेयरों में खरीदारी कर अगले कुछ समय में अच्छा मुनाफा कमा सकते हैं. मोमेंटम इंडिकेटर ने तकनीकी चार्ट पर 215 कंपनियों के शेयरों में तेजी आने की उम्मीद जताई है. इसका Indicators के फायदे मतलब यह है कि आप इन 215 शेयरों में निवेश कर अगले कुछ दिनों में अच्छी कमाई कर सकते हैं.
मोमेंटम इंडिकेटर के हिसाब से अडानी पावर, टाटा पावर, आईसीआईसीआई बैंक, एक्सिस बैंक, करूर वैश्य बैंक, इंफोसिस और रिलायंस इंडस्ट्रीज जैसी कंपनियों के शेयरों में आने वाले दिनों में अच्छी तेजी दर्ज की जा सकती है.
शेयर बाजार की चाल पर नजर रखने वाले मोमेंटम इंडिकेटर के मुताबिक रियल्टी कंपनी डीएलएफ, इंडिया एनर्जी एक्सचेंज, टाटा मोटर्स, हिमाद्री स्पेशलिटी, बैंक ऑफ़ इंडिया, जेएसडबल्यू एनर्जी ऐसी कंपनियों के शेयरों में निवेश से Indicators के फायदे भी अच्छी कमाई की जा सकती है. वास्तव में शेयर बाजार में लिस्टेड कंपनियों के ट्रेंड में आने वाले बदलाव के बारे में MACD जानकारी देती है.
एमएसीडी वास्तव में 26 दिन और 12 दिन के एक्स्पोनेंशियल मूविंग एवरेज के अंतर के बारे में बताता है. अगर 9 दिन के एक्स्पोनेंशियल मूविंग एवरेज की बात करें तो इसे सिग्नल लाइन कहते हैं. यह एमएससीडी के टॉप में दिखता है जो किसी शेयर में खरीदने या बेचने के अवसर के बारे में संकेत देता है.
अगर एमएसीडी सिग्नल लाइन के ऊपर है तो यह शेयर में तेजी आने का संकेत देता है. इसी तरह अगर एमएसीडी सिग्नल लाइन से नीचे है तो यह शेयरों में बिकवाली के संकेत देता है. एमएसीडी के मुताबिक यूपीएल, गोदरेज कंज्यूमर प्रोडक्ट्स, वाडीलाल इंडस्ट्रीज और एलप्स इंडस्ट्रीज के शेयरों में बिकवाली के संकेत मिल रहे हैं. अगर आपने भी इन शेयरों में निवेश किया हुआ है तो आप इसे बेचकर अपना नुकसान कम कर सकते हैं.
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